हमारे फेफड़ों तक ऑक्सीजन दो प्रकार से पहुँचती है - मुंह से और नाक से। स्वास्थ्यदायक श्वास नाक से सांस लेने को माना जाता है। कभी कभी जब हम व्यायाम करते हैं और हमारी सांस फूल जाती है तो अधिक ऑक्सीजन पहुँचाने के लिए हम अपने मुंह से सांस लेते हैं । हालांकि उस समय मुंह से सांस लेने के पीछे का कारण अधिक से अधिक ऑक्सीजन लेना होता है। परन्तु प्रश्न यह है कि क्या मुंह से सांस लेना स्वास्थ्य के लिये ठीक है?
नहीं ! मुंह से सांस लेना स्वास्थ्य के लिये बिल्कुल भी ठीक नही है। यदि आप बहुत अधिक मुंह से ही सांस लेते हैं तो इससे आपको अनेक समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है। यदि आपको मुंह से सांस लेने की आदत पड़ गई है तो यह आपके लिए कष्टकारी बन सकती है । विशेषत: बच्चों में यह आदत होना चिंता का विषय है। दरअसल बच्चे अक्सर रात को सोते समय मुंह से सांस लेते हैं।
मुंह से सांस लेने पर क्या क्या नुकसान हो सकते हैं आइए जानते हैं..
● यदि आप मुंह से सांस लेते हैं तो बालों की अनुपस्थिति के कारण अंदर जाने वाली हवा फिल्टर नहीं हो पाती है। जिसके कारण हवा में मौजूद गंदगी आपके फेफड़ों तक पहुंच सकती है।
● मुंह हवा में मॉइश्चर एड नहीं करता है, इसलिए यह हवा अंदर जाते जाते काफी सूखी हो जाती है जिस कारण फेफड़ों की ट्यूब में भी सूखापन पैदा हो सकता है।
● यदि हम नाक से सांस लेते हैं तो उससे अंदर जाने वाली हवा गर्म होकर अंदर जाती है, परन्तु मुंह से ली जाने वाली हवा इसी प्रकार फेफड़ों पर पहुंच जाती है और उसके तापमान में थोड़ी सी भी वृद्धि नहीं आती है।
● मुंह द्वारा सांस लेने पर हमारे खून में ऑक्सीजन का मार्ग कम होता चला जाता है ।
मुंह से सांस लेने के कारण-
● मुँह से सांस लिए जाने के अनेक कारण हैं। जिनमें मुख्य कारण नाक का बंद होना है। यह अधिकतर सर्दियों में होता है।
● कई बार अधिक डिप्रेशन और एंजाइटी में जाने के बाद भी हमारी सांस फूलने लग जाती है। जिसके कारण हम नाक की बजाए मुंह से सांस लेना आरंभ कर देते हैं।
● कुछ हाई इंटेंसिटी की गतिविधियां भी मुंह से सांस लेने पर विवश कर देती हैं।
मुंह से सांस लेने पर क्या लक्षण दिखाई देते हैं..
● मुंह से सांस लेने पर हमें मुँह में सूखापन, खर्राटे, सांस से बदबू आना, ब्रेन फॉग, उठते समय काफी इरीटेशन महसूस होना और थकान महसूस होना जैसे लक्षण देखने को मिल सकते हैं।
● इससे आपको बहुत से स्लीप डिसऑर्डर भी हो सकते हैं । ● आपको डार्क सर्कल की परेशानी भी हो सकती है।
● आप खर्राटे लेने और सांसों से दुर्गंध से दूसरों को भी परेशान कर सकते हैं।
मुंह से सांस लेने के नुकसान-
● यदि आप लगातार मुंह से सांस लेते हैं तो आपको बंद नाक की समस्या देखने को मिल सकती है ।
● आपके टॉन्सिल्स थोड़े बड़े हो सकते हैं।
● आपके नाक का साइज और शेप थोड़ा बदल सकता है।
● आपको गर्दन दर्द की समस्या हो सकती है, क्योंकि मुंह से सांस लेने के समय आप हमेशा आगे की ओर मुंह रखेंगे जिस कारण आपको पोस्चर से जुड़ी समस्या का सामना करना पड़ सकता है।
मुँह से सांस लेने की आदत का उपचार-
● उपचार के लिए आप डिप्रेशन और एंजाइटी कम करने के लिए योग और मेडिटेशन का सहारा ले सकते हैं।
● नाक बंद होने की समस्या को सुलझाने के लिए पहले उसका कारण जाने और फिर डॉक्टर से दवाई ले सकते हैं।
● अपनी कमर के बल सोना भी आपकी मदद कर सकता है । ● ऐसी चीजों से दूर रहें जिनसे आपको एलर्जी हो सकती है और आपका नाक बंद हो सकता है।
नाक से सांस लेने पर आपके फेफड़ों तक एकदम शुद्ध और ताजा हवा पहुंचती है और इससे आप अनेक समस्याओं से बच सकते हैं। इसलिए प्रयास करें कि मुंह की बजाए अधिक से अधिक नाक से ही सांस लें। हमेशा याद रखें कि मुँह से सांस नही लेना है।
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